भारत में गढ़वाले चावल के वितरण की मिली मंजूरी, हर साल आएगा इतना खर्च

88.65 लाख मीट्रिक टन चावल की खरीद कर चुकी सरकारी एजेंसियां ​​

 
anurag thakur rice

दिल्ली। केंद्रीय मंत्रिमंडल ने भारत में सभी सरकारी योजनाओं के तहत गढ़वाले चावल के वितरण को मंजूरी दी। दिल्ली में केंद्रीय सूचना और प्रसारण मंत्री अनुराग ठाकुर ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए कहा कि केंद्रीय मंत्रिमंडल ने सभी सरकारी योजनाओं में फोर्टिफाइड चावल के वितरण को मंजूरी दी। अब तक सरकारी एजेंसियां ​​88.65 लाख मीट्रिक टन की खरीद कर चुकी हैं।

केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने जानकारी देते हुए बताया कि चावल का फोर्टिफिकेशन करने में हर साल लगभग 2700 करोड़ रुपये का खर्च आएगा जिसे केंद्र वहन करेगा। इसे साल 2024 तक देश के सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में चरणबद्ध तरीके से लागू कर दिया जाएगा। फोर्टिफाइड चावल वितरण की योजना को लागू करने का काम तीन चरणों में पूरा किया जाएगा।

केंद्रीय मंत्री ने बताय कि पहला चरण मार्च 2022 तक पूरे देश में एकीकृत बाल विकास सेवाओं (आईसीडीएस) और पीएम पोषण को कवर किया जाएगा. और दूसरा चरण मार्च 2023 तक सभी आकांक्षी और उच्च बोझ वाले जिलों में लक्षित सार्वजनिक वितरण प्रणाली व अन्य योजनाओं में इसे लागू किया जाएगा। वहीं तीसरा चरण दूसरे चरण के साथ बाकी बचे जिलों में मार्च 2024 तक इस योजना को लागू कर दिया जाएगा।


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