Birth Anniversary: देश के महान स्वतंत्रता सेनानियों में से एक थे रासबिहारी बोस

नई दिल्ली। देश के महान स्वतंत्रता सेनानियों में से एक रासबिहारी बोस की आज जयंती है। रासबिहारी बोस ने आजाद हिंद फौज और इंडियन इंडिपेंडेंस लीग फौज के गठन में अहम भूमिका निभाई। रास बिहारी बोस भारत के प्रमुख क्रांतिकारी नेता थे जिन्होंने ब्रिटिश सरकार के खिलाफ आंदोलन किया था। रासबिहारी बोस ने ग़दर क्रांति और आजाद हिन्द फौज की स्थापना में भी महत्वपुर्ण योगदान दिया था। सुभाषचन्द्र बोस के निधन के बाद रास बिहारी बोस ने ही आजाद हिन्द फ़ौज की कमान संभाली थी।
जीवन परिचय
रास बिहारी बोस का जन्म 25 मई 1886 को बंगाल के वर्धमान जिले के सुबालदाह गांव के बंगाली कायस्थ परिवार में हुआ था। उनके पिता का नाम विनोद बिहारी बोस और मानता का नाम भुवनेश्वरी देवी था। जब वह मात्र तीन साल के थे तो उनकी मां का देहांत हो गया था। उनका पालन-पोषण उनकी मामी करती थी।
शिक्षा
रास बिहारी बोस ने अपनी शिक्षा चन्दननगर से शुरू की थी। अपने शिक्षक चारू चांद से उन्हें क्रांति की प्रेरणा मिली थी। इसके बाद उन्होंने चिकित्सा शास्त्र और इंजीनियरिंग की पढ़ाई फ्रांस और जर्मनी से की।
बचपन से ही अंग्रेजों के प्रति क्रोध
बचपन से ही रास बिहारी ने महामारी और सूखे का दौर देखा जिसके साथ उन्होंने ब्रिटिश साम्राज्य के जुल्म भी देखे और उनके मन में अंग्रेजों के प्रति नफरत भर गई थी।
कॉलेज में क्रांतिकारी बनने की प्रेरणा
संवेदनशील मस्तिष्क वाले रास बिहारी बचपन से ही देश की आजादी की सपना देखने लगे थे। उनकी क्रांतिकारी गतिविधियों में भी गहरी रुचि थी। बोस की कॉलेज शिक्षा चंदननगर के डुप्लेक्स कॉलेज में हुई जहां के प्राचार्य चारू चंद्र रॉय ने उन्हें क्रांतिकारी राजनिति के लिए प्रेरित किया।
निधन
देश के महान स्वतंत्रता सेनानी रास बिहारी बोस ने 21 जनवरी 1945 को दुनिया को अलविदा कह दिया।
उपलब्धियां
रास बिहारी बोस के निधन के बाद जापान के सरकार ने उन्हें ऑर्डर ऑफ द राइजिंग सन से सम्मानित किया।
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